इस्राइल और हमास के बीच जारी युद्ध को करीब एक महीने होने जा रहा है। इस जंग के थमने के आसार दूर-दूर तक नहीं दिखाई दे रहे हैं। अभी तक करीब 11 हजार लोगों की मौत हो चुकी है। कई देश गाजा पट्टी में मानवीय संकट का हवाला देते हुए इस्राइल से हमला रोकने की मांग कर रहे हैं। इस पर इस्राइली प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने साफ कह दिया है कि वह गाजा में सहायता पहुंचने या बंधकों को बाहर निकालने के लिए जंग पर थोड़ी देर विराम देने पर विचार करेंगे। हालांकि, बढ़ते अंतरराष्ट्रीय दबाव के बावजूद एक बार फिर नेतन्याहू ने संघर्षविराम की मांग को फिर से खारिज कर दिया।
फलस्तीनी क्षेत्र पर सुरक्षा जिम्मेदारी की आवश्यकता
गौरतलब है, इस्राइल ने कसम खाई है कि वह हमास के एक-एक आतंकी को चुन-चुनकर खत्म कर देगा। नेतन्याहू ने कहा कि उन्हें लगता है कि इस्राइल को युद्ध के बाद अनिश्चित अवधि के लिए फलस्तीनी क्षेत्र पर सुरक्षा जिम्मेदारी की आवश्यकता होगी। अमेरिका द्वारा मानवीय संकटों के कारण जंग को रोकने के प्रयासों पर इस्राइली पीएम ने कहा कि सामान्य युद्धविराम उनके देश के युद्ध प्रयासों में बाधा उत्पन्न करेगा।
नेतन्याहू ने सोमवार को कहा कि जहां तक छोटे-छोटे विरामों की बात है- ‘एक घंटा यहां, एक घंटा वहां’ हम पहले भी ऐसा कर चुके हैं।
10,022 फलस्तीनी लोगों की मौत
हमास का कहना है कि जब गाजा पर हमला हो रहा है तो वह बंधकों को मुक्त नहीं करेगा और न ही लड़ाई बंद करेगा। हमास-नियंत्रित क्षेत्र में स्वास्थ्य मंत्रालय ने कहा कि अब तक कम से कम 10,022 फलस्तीनी मारे गए हैं, जिनमें 4,104 बच्चे भी शामिल हैं। अंतरराष्ट्रीय संगठनों ने कहा है कि अस्पताल घायलों का इलाज नहीं कर सकते हैं। भोजन और साफ पानी खत्म हो रहा है और सहायता वितरण कहीं भी पर्याप्त नहीं है। वाशिंगटन सहायता को प्रवेश की अनुमति देने के लिए संघर्ष में विराम की व्यवस्था करने के लिए कड़ी मेहनत कर रहा है। हालांकि, इस्राइल ने साफ कह दिया है कि वह पूरी तरह से युद्ध पर विराम नहीं लगाएगा।